अब सलमान खान की जान को खतरा बढ़ता जा रहा है। बिश्नोई समाज ने उनसे माफी मांगने को कहा है अब समाज ने प्रधानमंत्री मोदी से इस मामले में मदद की अपील की है।
बॉलीवुड एक्टर सलमान खान की सुरक्षा को लेकर मामला बिगढ़ता ही जा रहा है। जिसकी वजह से उन्होंने अपनी सुरक्षा में बड़े बदलाव किए हैं। काले हिरण के शिकार के पुराने मामले ने फिर से तूल पकड़ लिया है, जब सलमान की पूर्व प्रेमिका के बयान के बाद इस मुद्दे ने नई बहस को जन्म दिया। अब इस मामले में बिश्नोई समाज भी सक्रिय हो गया है, जिन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मदद की अपील की है।

साथ ही बिश्नोई समाज ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक पत्र लिखकर कूनो नेशनल पार्क में नामीबिया से लाए गए चीतों के लिए चीतल और हिरणों को भोजन के रूप में उपयोग करने पर कड़ी नाराजगी जताई। बिश्नोई समाज, जो पर्यावरण और वन्यजीव संरक्षण के लिए प्रसिद्ध है, ने इसे अपने धार्मिक और सांस्कृतिक मूल्यों के खिलाफ बताया।
अब बिश्नोई समाज ने पीएम मोदी को लिखा पत्र
काले हिरण को भगवान की तरह पूजने वाले बिश्नोई समाज ने सलमान खान से माफी मांगने की मांग की है। समाज का कहना है कि अगर सलमान खान माफी नहीं मांगते हैं, तो उन्हें इसके गंभीर परिणाम भुगतने पड़ेगे।और समाज के सदस्यों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से इस मामले में हस्तक्षेप करने की अपील की है। समाज का मानना है कि सलमान खान को कोर्ट से बचाने के लिए पैसों का प्रभाव इस्तेमाल किया जा रहा है, जबकि सब जानते हैं कि काले हिरण का शिकार हुआ था।
बिश्नोई समाज के नेता का ताजा बयान
बिश्नोई समाज के अध्यक्ष, देवेंद्र बिश्नोई ने अपने बयान में कहा है कि पहले तो वे सलमान खान को माफी देने की बात कर रहे थे, लेकिन अब माफी का सवाल ही नहीं उठता। उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी और गृहमंत्री अमित शाह से अपील की है कि इस मामले में तेजी से सुनवाई हो और न्यायिक प्रक्रिया को जल्द से जल्द पूरा किया जाए। देवेंद्र बिश्नोई का कहना है कि सलमान खान को उसके कृत्य की सजा मिलनी चाहिए, ताकि सच सबके सामने आ सके।
सलीम खान का जवाब
इस पूरे विवाद में अब सलमान खान के पिता सलीम खान ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि माफी मांगने का तो सवाल ही नहीं उठता, क्योंकि सलमान ने काले हिरण का शिकार किया ही नहीं। सलीम खान का मानना है कि जब उनका बेटा दोषी नहीं है, तो उसे माफी मांगने की जरूरत भी नहीं है।
इस मामले ने एक बार फिर से विवाद को हवा दे दी है, और अब देखना होगा कि कानूनी प्रक्रिया में आगे क्या होता है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस मामले में क्या कदम उठाते हैं।
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